CTET Paper Level 2 Baal Vikas Shiksha Shastra Sampel Model Papers
CTET Paper Level 2 Baal Vikas Shiksha Shastra Sampel Model Papers:- इस पोस्ट में आपकों मिलेगें CTET (Central Teacher Eligibility Test) बाल विकास एवं अध्ययन – विद्दा (Child Development and Pedagogy) से जुड़े 100 महत्वपूर्ण Question Answer Model Papers जिनके Answer पोस्ट के Last में दियें गये हैं
बाल विकास एवं शिक्षा शास्त्र (Child Development and Pedagogy)
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- भारतीय सविधान में कितने वर्ष के बच्चों के लिए अनिवार्य और निशु:ल्क शिक्षा प्रदान करने का प्रावधान है?
5 से 10 वर्ष तक के
6 से 12 वर्ष तक के
6 से 14 वर्ष तक के
8 से 14 वर्ष तक के
- राष्ट्रिय शिक्षा नीति के अन्तर्गत अनौपचारिक शिक्षा कार्यक्रम चलाया जा रहा है-
उन बच्चों के लिए जिन्होंने विद्दालय जाना छोड़ दिया है
विद्दालय विहीन टोले के बच्चों के लिए
काम काजी बच्चों के लिए
उपर्युक्त सभी के लिए
- शिक्षकों को नैतिक मूल्य संहिता (कोड ऑफ ऐथिक्स) उन्हें आज्ञा प्रदान करती है –
शिक्षक बालकों से शिक्षण शुल्क लेकर पढ़ाएँ
शिक्षक कक्षा के बाहर राजनीति में सहभागिता करे
शिक्षक किसी रिक्त स्थान के विज्ञाप्ति होने से पूर्व ही अपना प्रार्थना – पत्र भेज दे।
शिक्षक सभी गुप्त बातों को अपने प्रधानाचार्य को बता दें
- शिक्षक का सर्वोच्च कर्त्तव्य है, वह –
अपने समुदाय की सेवा करे
प्रदानाचार्य के आदेशों का अनुसरण करें
छात्रों का कल्याण करें
शिक्षकों की मंडली में रहें
- नैतिक मूल्य नियमावली का अर्थ है-
कुछ निश्चित मापदण्ड जिनका पालन व्यवस्था विशेष में कार्यरत सभी व्यक्ति करते हैं
आदर्शों एवं सिद्धांतों का सूची पत्र जिसे किसी व्यवसाय के प्रत्येक सदस्य पर लागू किया जाता है
ऐसे निश्चित मापदण्ड जिनका अनुमोदन उच्च अधिकारी करते हैं किन्तु पालन निम्न स्तर के कर्मचारी करते हैं
किसी व्यावसायिक जगत की एक आवश्यक बुराई है
- राष्ट्रीय शिक्षक संहिता के अनुसार शिक्षकों के लिए वह अनुचित मापदण्ड हैं कि वे-
कक्षा में अपने धार्मिक विचारों की चर्चा करें
अतिरिक्त धन लेकर छात्रों को पढ़ाएँ
उस विशिष्ट पद के लिए प्रार्थना पत्र दे जो अभी रिक्त नहीं है
यशिक्षक संहिता के नियमों का जानबूझ कर उल्लंघन करें
- यदि शिक्षण के दौरान छात्रों को कुछ याद नहीं हुआ तो यह कहा जायगा कि-
शिक्षण नहीं हुआ
अध्ययन नहीं किया
परीक्षा नहीं ली गई
गृहकार्य नहीं दिया गया
- कक्षा के आधारीय सिद्धांतों (नियमों) को निम्नलिखित में से किसके द्वारा प्रतिस्थापना की जानी चाहिए?
प्रधानाचार्य
छात्र समूह
छात्र एवं शिक्षक
शिक्षक
- व्यावसायिक शिक्षाक्ष-
स्वान्त: सुखाय शिक्षा है
आत्मलघुता प्रदान करने वाली है
जीविकोपार्जन के लिए प्रशिक्षण प्रदान करती है
भौतिक सम्पत्ति प्राप्त करने का साधन मात्र है
- प्रथम राष्ट्रीय तकनीकी कार्यशाला का उद्घाटन निम्न में से किसने किया?
इन्दिरा गाँधी
डॉ. जाकिर हुसैन
प्रो. आर.जी. तकवले
डॉ. एस. राधाकृष्णन
- अधोमुखी निस्पंदन सिद्धांत का प्रणेता कौन था?
मेकॉले
डलहौजी
लारेन हेस्टिंग्स
जॉन डीवी
- यदि बिना किसी हिसात्मक क्रांति के बड़े पैमाने पर परिवर्तन करना है तो केवल एक ही साधन हैं जिसका प्रयोग किया जा सकता है और वह हैं शिक्षा यह विचार व्यक्त किया है?
महात्मा गाँधी ने
रवीद्रनाथ टैगोर ने
राजा राममोहन राय ने
डी.एस. कोठारी ने
- मूल्य परक शिक्षा की आवश्यकता है-
मानव व्यक्तित्व के विकास के लिए
आध्यात्मिक विकास के लिए
नैतिक विकास के लिए
समग्र विकास (बौद्धिक, शारीरिक, नैतिक, आध्यात्मिक) के लिए
- प्राचीन काल में योग्यता और कार्यसंपादन के विचार से शिक्षकों की कितनी श्रेणियाँ थीं?
4
5
6
8
- कक्षा मॉनीटर पद्धति का लाभ था-
शिक्षकों की अनुपस्थिति में भी शिक्षण कार्य चलता रहता था
कक्षा नायक शिक्षण कार्य में प्रशिक्षित हो जाता था
कार्य में सहयोग मिलता था
छात्रों को गरिमा का बोध हो
- गाँधी जी की बुनियादी शिक्षा और व नीति के अन्तर्गत कार्यानुभव पर विशेष रहा है। इसका मूल आधार है?
पाश्चात्य शिक्षा पद्धति
मध्यकालीन मुस्लिम शिक्षा पद्धति
व्यावसायिक शिक्षा पद्धति
अमेरिकी शिक्षा पद्धति
- प्राचीन काल में चिकित्सा संबंधी शिक्षा प्राप्त करने के लिए छात्रों में कितनी योग्यताएं अपेक्षिती
छात्र का पूर्ण स्वस्थ होना
नैतिकता, धैर्य एवं लगन
बुद्धि की उदारता एवं कष्ट सहिष्णता
उपर्युक्त सभी
- बौद्ध विद्या का मुख्य केन्द्र स्थित था?
नालंदा
सारनाथ
पावापुरी
वैशाली
- विक्रमशिला विश्वविद्यालय निम्न में से किस राज्य में स्थित था?
बंगाल में
बिहार में
कश्मीर में
राजस्थान में
- नई शिक्षा नीति की घोषणा निम्न में से किस वर्ष की गई
1976 ई. में
1980 ई० में
1986 ई. में
1996 ई. में
- 10+2 +3 की प्रणाली भारत के किस शिक्षा नीति की देन है?
1962 ई. की शिक्षा नीति
1968 ई. की शिक्षा नीति
1986 ई. की शिक्षा नीति
1992 ई. की शिक्षा नीति से
- वर्ड के घोषणा-पत्र का कार्यान्वयन हुआ था
1852 ई. में
1853 ई. में
1854 ई. में
1885 ई. में
- भारतीय शिक्षा आयोग 1882 का गठन निम्न में से किसकी अध्यक्षता में किया गया था?
सैयद महमूद
हंटर
लार्ड रिपन
आनन्द मोहन बोस
- बुनियादी शिक्षा है
आधारभूत शिक्षा
प्रौद्योगिकी शिक्षा
आनुषंगिक शिक्षा
शारीरिक शिक्षा
- निम्नलिखित में से कौन बुनियादी शिक्षा का स्वरूप नहीं
शिक्षा का माध्यम हिन्दी हो
शिक्षा शिल्प पर आधारित हो
शिक्षा नैतिक मूल्यों पर आधारित हो
शिक्षण कार्य में पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं को प्राथमिकता दी जाय ..
CTET Paper Baal Vikas Shiksha Shastra Model Papers
- शिक्षा सम्बन्धी प्राच्य-पाश्चात्य विवाद का अन्त निम्न में से किसने किया?
मेकॉले
लॉर्ड विलियम बॅोटक
राजा राम मोहन राय
महात्मा गाँधी –
- जो व्यक्ति शिक्षण-व्यवसाय में प्रवेश का इच्छुक है, उसके लिए सर्वोच्च अर्हता है
उच्च बुद्धिलब्धि
सार्वजनिक संभाषण योग्यता
उत्तम स्वास्थ्य
अतिरिक्त आय के स्रोत
- शिक्षक प्रशिक्षण संस्थाओं को अपने प्रशिक्षणों को चुस्त करने के लिए निम्नलिखित कार्य करना चाहिए
सामान्य शिक्षा
विशिष्ट पाठ्यक्रमों का संगठन
व्यावसायिक शिक्षा
उपर्युक्त सभी .
- एक प्राथमिक विद्यालय की भलाई निहित है
शिक्षकों के सुधार में
छात्रों के सुधार में
प्राथमिक पाठ्यक्रम के संशोधन में
प्राथमिक कक्षाओं की उपेक्षा में –
- प्राचीन काल में शिक्षण के संदर्भ में सर्वाधिक बल दिया। जाता था
पारस्परिक विचार-विमर्श पर
छात्रों के परामर्श पर
छात्रों द्वारा रटे गये पाठों के श्रवण पर
छात्रों के अनुभवों को योजनाबद्ध करने पर
- शिक्षण में सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण कारक है
शिक्षण सामग्री की विविधता
प्रयुक्त शिक्षण तकनीक
सम्प्रेषित विषय सामग्री
छात्र-शिक्षक के मध्य अन्तर्सम्बन्ध
- छात्र के विकास एवं वृद्धि के उद्देश्य से सर्वश्रेष्ठ शिक्षण किस स्तर पर किया जाना आवश्यक है?
स्नातक स्तर पर
हाई स्कूल स्तर पर
माध्यमिक स्तर पर
प्राथमिक स्तर पर
- नवनियुक्त शिक्षक को प्रथम प्रवेश के समय जो कार्य करना चाहिए, वह है
उत्तम शुरूआत के लिए प्रशासनिक कार्यों को पूर्व में ही पूर्ण कर ले
छात्रों को कठोर अनुशासन में रखे तथा स्वयं को कठोर शिक्षक के रूप में स्थापित करे
छात्रों के साथ मधुर सम्बन्ध स्थापित करने का प्रयास करे
छात्रों को तथा स्वयं को पारस्परिक परिचय प्राप्त करने का अवसर प्रदान करे
- किसी क्रिया को उत्तम अधिगम प्रविधि में परिवर्तित करने के लिए सदैव आवश्यकता होती है
मानसिक व्यायाम की
एक परीक्षण की
एक वास्तविक शिक्षा के उद्देश्य की
शिक्षक द्वारा संवर्धित अधिगम की शिक्षण में
- सम्पूर्ण उपागम की संस्तुति की जाती है, क्योंकि
इससे शिक्षक को दैनिक कार्य योजनाओं के निर्माण से मुक्ति मिल जाती है
इसके द्वारा प्रकरण के महत्त्वपूर्ण अंगों पर अतिरिक्त बल प्रदान किया जाता है
यह शिक्षण को सार्थक दिशा निर्देश प्रदान करता है
यह परीक्षण कार्यक्रम को अधिक प्रभावी बनाता है।
- सहपाठी शिक्षण (Peer Teaching) में निम्नलिखित अवधारण अन्तर्निहित है
शिक्षा में व्यक्तिवाद को समाप्त किया जाए
शिक्षा से प्रतिस्पर्धा को समाप्त किया जाए
समरूपी समूह शिक्षण ही प्रजातंत्र का मूलाधार है
छात्र अपने मित्र समूह से अधिक प्रभावित होते हैं
- आधुनिक विद्यालयों में कौशलों का अधिगम प्रदान किया जाता है
जब उनकी आवश्यकता होती है
योजनाबद्ध तरीके से
राजकीय पाठ्य-पुस्तकों के योग्यतानुसार
माता-पिता के इच्छानुसार
- शिक्षक प्रायः दृश्य-श्रव्य सामग्री को समझते हैं
पारम्परिक शिक्षण का प्रतिस्थापन
कक्षीय परम्परा में मनोरंजक परिवर्तन
शिक्षण की अन्य युक्तियों का प्रयोग
शिक्षण तैयारी में समय की बचत
- वाद-विवाद निम्नलिखित समस्या के समाधान में न्यूनतम लाभप्रद है
जिनका केवल एक सटीक उत्तर हो
जिनके अनेक आयाम एवं पहलू हो
जो सामाजिक मूल्यों से सम्बन्धित हो ।
जिनमें परिपक्व एवं स्पष्ट निर्णय लेना हो
- एक प्रभावी शिक्षण में निम्नलिखित में से कौन-सा गण नहीं पाया जाता है
वाद-विवाद प्रविधियाँ
गृहकार्यों का बोझ
समस्या समाधान को प्रोत्साहन करने वाले अवसर
पाठों का रटना
- निम्नलिखित में से कौन-सी न्यूनतम प्रभावी विधि है ?
पेनल विचार-विमर्श
समस्या समाधान
कक्षा में रटना
कक्षा में वाद-विवाद
- पेस्टालॉजी की शिक्षण पद्धति की एक विशेषता थी
पाठ को कंठस्थ कर जाना
स्वानुभव के द्वारा सीखना
पढ़ने से अधिक लिखना
खेल-कूद में पढ़ना
- चरवाहा विद्यालय की स्थापना किस राज्य में हआ है ?
बिहार
उड़ीसा
पश्चिम बंगाल
मध्य प्रदेश
- 1907 ई० में मारिया मॉन्टेसरी ने अपने प्रथम विद्यालय की स्थापना की, जिसका नाम था ?
बच्चों का पाठशाला
बच्चों का घर
बच्चों का विद्यालय
खेल-घर .
- चरवाहा विद्यालय का उद्देश्य है
समाज के सुविधावंचित वर्ग को शिक्षा के प्रति प्रेरित करना
सार्वजनिक शिक्षा अभियान को अनुत्साहित करना
पेशागत कुशलता को खत्म करना
छात्रों के आत्मविश्वास में कमी लाना
- स्कूल ऑफ इनफैन्सी’ नामक पुस्तक के रचयिता
विल्हेन प्रेयर
जॉन कॉमेसियस
कैटेल
टिचनर
- “बच्चों का मस्तिष्क साफ स्लेट की तरह होता है, जिस ___ पर समाज जो चाहे लिख सकता है” यह कथन निम्न में से सम्बन्धित है
जी. बी. वाटसन
विलियम्स जेम्स
लॉक जे.
कॉफ्का के
- किशोरावस्था के बाद शारीरिक वृद्धि का कार्य
अवरुद्ध हो जाता है
गतिशील हो जाता है
क्रमिक परिवर्तन होता है
इनमें कोई नहीं
- प्राक्-भाषा की पहली अवस्था है
दूसरों की भाषा समझना
प्रथम शब्द बोलना
रुदन
शब्दोच्चारण
- भाषा-विकास के आवश्यक वाणी-अंगों में एक है
दाँत
होंठ
जीभ
कपाल
CTET Paper Level 2 Baal Vikas Question Answer Model Papers
- स्मिथ के अनुसार पाँच वर्ष की उम्र में बच्चों के शब्द भंडार की संख्या लगभग होती है
540
850
2072
- भाषा-विकास की दूसरी अवस्था है
क्रन्दन-रुदन
शब्द-भंडार का निर्माण
हाव-भाव
भाषा-बोध
- निम्न में से किसका शोध अध्ययन-संबंधी निष्कर्ष है कि दो और तीन वर्षों की उम्र में शब्द-भंडार की संख्या क्रमश: 262 और 896 हो जाती है?
शरमन
मैकार्थी
जर्सिल्ड
स्मिथ
- निम्न में से कौन मौलिक संवेग है ?
खुशी
प्रेम
खिन्नता
दु:ख
- बच्चों में संवेगात्मक विकास में निम्न में से किसकी भूमिका प्रधान होती है?
माता पिता
समाज
शिक्षण
पड़ोस
- बच्चों में संवेगात्मक विकास में किसकी भूमिका संबंधी महत्वपूर्ण अध्ययन का श्रेण किसको जाता है?
बेन्हम
जे.बी. वाटसन
जोन्स एवं जोन्स
थाम्पसन
- खेल वह क्रिया है, जिससे हम स्वतंत्रापूर्वक अपने इच्छानुसार करते हैं यह परिभाषा निम्न में से सम्बन्धित है-
ए.टी जर्सिल
ई. बी. हरलॉक
गुलिक
शर्ला
- खेल सम्बन्धी मूल प्रवृत्ति या स्पर्द्धा सिद्धांत का प्रतिपादक है-
कार्ल ग्रुस
जो. स्टेनली हॉल
मैडूगल
शेलर एवं हर्बट स्पेन्सर
- खेल- सम्बन्धी सिद्धांतों में अतिरिक्त शक्ति व्यय सिद्धांत निम्न में से प्रस्तुत किया
पैट्रिक ने
मैकडूगल ने
शर्ला ने
शीलर एवं स्पेन्सर ने
- खेल में भावी जीवन की तैयारी के सिद्दांतों का प्रमुख प्रतिपादक है-
फ्रायड
डीवी
कार्ल ग्रूस
बुहलर
- किस मनोवैज्ञानिक ने खेल के विश्राम या मनोरंजन सिद्धांत को जन्म दिया?
शीलर एवं स्पेसर
पैट्रिक
कार्ल ग्रूस
जी. स्टेनली हॉल
- खेल के पुनारावृत्ति सिद्धांत का प्रतिपादक निम्न में से है-
बुहलर
शर्ली
जी. स्टेनली हॉल
पैट्रिक
- खेल ही जीवन है- यह सिद्धांत निम्न में से सम्बन्धित है-
कार्ल ग्रूस
बुहलर
गेसेल
जॉन जयूवी
- हरलॉक ने किसके प्रयोग के आधार पर जातीय संस्कृति का प्रतिपादन किया?
ड्रेनिस
कार्ल ग्रूस
हरलॉक
क्रो व क्रो
- बालक के शारीरिक और मानसिक विकास में निम्न में से किसकी भूमिका महत्त्वपूर्ण होती है?
जाति-भेद
लिंग-भेद
रूप-रंग भेद
उपरोक्त सभी
- पाठ्यक्रम की रचना में किस तत्व को सर्वोच्च वरीयता दी जाए?
शिक्षक की समर्थता
बच्चों की आवश्यकताएँ तथा क्षमताएँ
राष्ट्रीय आस्थाएँ तथा मान्यताएँ
सामाजिक तथा सांस्कृतिक आदर्श .
- समस्त शैक्षणिक योजना का केन्द्र बिन्दु है
यूनिट इकाइयों का निर्माण
दैनिक पाठों का सूक्ष्म विवेचन
पाठ के सूक्ष्म उद्देश्यों का निष्कर्षण
शिक्षण की सम्पूर्ण योजना का निर्माण –
- एक शिक्षण कार्ययोजना (यूनिट) को सर्वोत्तम ढंग से निम्नलिखित रूप से परिभाषित किया जाता है
महत्त्वपूर्ण अधिगम क्षेत्रों के सन्दर्भ में अपनी शिक्षण योजना को कार्यान्वित करने के ढंग के रूप में
तार्किक क्रम में आबद्ध ज्ञान के रूप में |
विषय-वस्तु की निर्माण योजना के रूप में
किसी विषय-वस्तु का ज्ञान प्रदान करने के क्रम में स्थापित करने में रूप में ‘
- पाठ यूनिट’ (Lesson unit) है
शिक्षक द्वारा प्रयुक्त सम्पूर्ण पाठ योजना
उद्देश्यों एवं शिक्षण विषय वस्तु को एक संगठित रूप में क्रियान्वित करने की योजना
एक ऐसी योजना जिसे छात्रों की आवश्यकता के आधार पर
अधिगमित क्रियाओं की दीर्घ श्रृंखला, जिसे वर्णित उद्देश्यों की प्राप्ति के क्रम में व्यक्त किया जाता है।
- एक शिक्षण-इकाई (Teaching unit) के सन्दर्भ में। निम्नलिखित में से कौनसा कथन असत्य है ?
यह शिक्षक को सुरक्षा प्रदान करती है
यह कक्षा कार्यों हेतु दिशा-निर्देश प्रदान करती है
यह अधिगम मल्यांकन विधियों के रूप में कार्य। करती है।
यह एक वृहद् विचार को कार्यरूप में परिणत करती है
- पाठ-योजना के निर्माण में निहित रहते हैं
उद्देश्य, समस्याओं के विश्लेषण से मुक्त रखा जाता है
शिक्षण क्रियाओं से छात्रों को मुक्त रखा जाता है
शिक्षण बिन्दुओं को मूल्यांकन के क्रम में व्यवस्थित किया जाता है
शिक्षण समस्या सम्बन्धी तकनीकियों, प्रविधियों, संसाधनों आदि का प्रयोग किया जाता है …
- इकाई पाठ-योजना (Unit Lesson Plan) निर्भर करती
एक तार्किक प्रकरण या ज्ञान के विभाजन पर
कक्षोपयोगी महत्वपूर्ण अधिगम खण्डों पर ।
अकादमिक (शैक्षणिक) सामग्री के क्रमबद्ध विश्लेषण पर
एक ऐसी समस्या पर जिसे कक्षोपयोगी माना जाता है
- निम्नलिखित में से कौन-सा कथन एक पाठयोजना, निर्माण में न्यूनतम लाभ प्रदान करता है?
यूनिट के शीर्षक का विश्लेषण
यूनिट के लक्ष्यों पर विचार-विमर्श
यूनिट के दोषों का वर्णन
यूनिट के लिए शिक्षण-सामग्री का उपयोग
- यदि एक शिक्षक को एक वृहद् पाठ-योजना को शीघ्रातिशीघ्र पूरा करने के उद्देश्य से शिक्षण करना है, तो निम्नलिखित में से सर्वोत्तम विधि होगी
व्याख्यान विधि
निर्देशित विचार-विमर्श
प्रदर्शन विधि
कक्षा में उत्प्रेरित समूल विवेचन विधि
- शिक्षण सामग्री संसाधनों को प्रमख रूप से जटाया जाना चाहिए
पाठ्यक्रम समन्वयक द्वारा
पाठ्यपुस्तक प्रकाशक द्वारा
छात्रों एवं शिक्षकों द्वारा
पाठ्यक्रम सहायक द्वारा
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- पाठ-योजनाएँ प्राथमिक रूप से शिक्षक के लिए लाभप्रद । होती है, क्योंकि
ये तात्कालिक शिक्षण उद्देश्यों की रूपरेखा का। निर्माण करती है
पाठयोजना को प्रत्येक वर्ष तैयार करने के संकट से। मुक्ति प्रदान करती है
परीक्षा हेतु छात्रों की नीति को तैयार करती है।
शिक्षक को योजना निर्माण में समय एवं परिश्रम को बचाने में मदद करती है
- ‘ब्लैक बोर्ड ऑपरेशन’ का सम्बन्ध है
ब्लैक बोर्ड के शल्य चिकित्सा से।
प्राथमिक शिक्षा में न्यूनतम शिक्षण सामग्री व्यवस्था से
माध्यमिक शिक्षा में क्रान्तिकारी परिवर्तन से
उच्च कक्षाओं में ब्लैक बोर्ड के द्वारा शिक्षण
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति की घोषणा की गई थी
सन 1968 में
सन् 1975 में
सन् 1978 में
सन् 1986 में
- ‘राष्ट्रीय साक्षरता मिशन’ कार्यक्रम का सम्बन्ध है
कोठारी कमीशन से
राधाकृष्णन कमीशन से
राष्ट्रीय शिक्षा नीति से
मुदालियर कमीशन से
- भारत में शिक्षा को राष्ट्रीय स्वरूप प्रदान करने के मार्ग में सबसे बड़ी बाधा है
विभिन्न शिक्षा पद्धतियों का प्रचलन
विभिन्न राज्यों में विभिन्न प्रकार के शिक्षा परिषद तथा संगठन
विभिन्न भाषाएँ एवं संस्कृति
उपर्युक्त सभी
- दूरस्थ शिक्षा प्रदान की जाती है
इन्दिरा गाँधी ओपन यूनिवर्सिटी के द्वारा
अनेक विश्वविद्यालयों के पत्राचार प्रकोष्ठ द्वारा
माध्यमिक शिक्षा द्वारा
उपर्युक्त सभी के द्वारा
- सतत् मूल्यांकन की विधा है
आधुनिक एवं नवीन मूल्यांकन विधि
पारम्परिक मूल्यांकन विधि
मूल्यांकन की वस्तुनिष्ठ विधि
(A) तथा (C) दोनों ही
- वर्तमान प्राथमिक शिक्षा में सर्वाधिक अवांछनीय प्रवृत्ति
पाठ्यक्रम में शिथिलता
अधिगम एक सहयोगात्मक समप्रत्यय
कक्षा के आकार में वृद्धि
शिक्षण का वैयक्तीकरण
- आधुनिक समय में दूरदर्शन के शैक्षिक कार्यक्रमों स
अध्ययन हेतु पर्याप्त समय निकालने के लिए शिक्षका को चाहिए, कि वे
छात्रों को वांछनीय शैक्षिक कार्यक्रमों की उचित जानकारी प्रदान करें
दूरदर्शन के शैक्षिक कार्यक्रमों के अनुसार कक्षा
समय तालिका नियन्त्रित करेंछात्रों के लिए शिक्षा सम्बन्धी कार्यक्रमों का अधिकाधिक प्रसारण करवाएं
छात्रों को दूरदर्शन के अन्य कार्यक्रमों को देखने से हतोत्साहित किया जाए।
- आजकल शिक्षा में प्रचलित प्रवृत्ति यह है कि
बालकों की विकास-वृद्धि का मूल्यांकन उनके व्यवहार के माध्यम से किया जाए
छात्रों पर किसी भी प्रकार का कठोर नियंत्रण लागू न किया जाए
छात्रों पर अधिक प्रभावी अनुशासन नियम लागू किया जाए
छात्रों के पाठ्यक्रम को सुदृढ़ किया जाए।
- उत्तम पाठ योजनाएँ वे होती हैं, जिन्हें
शिक्षक प्रतिवर्ष तैयार करते हैं
विभाग के लिए सम्पूर्ण शिक्षकों द्वारा तैयार किया जाता है
शिक्षक-छात्रों के पूर्व-अनुभवों एवं सांस्कृतिक पृष्ठभूमि को ध्यान में रखकर तैयार की जाती है
छात्र-समितियाँ द्वारा तैयार किया जाता है –
- किसी पाठ योजना की प्रभावशीलता के सन्दर्भ में निम्नलिखित में से कौनसा आधारभूत कारक है ?
दृश्य-श्रव्य सहायक सामग्री का औचित्यपूर्ण प्रयोग
शिक्षकों द्वारा प्रकरणों की सारगर्भिता स्थापित करना
छात्रों का व्यवहार एवं कक्षा का वातावरण
अधिगम क्रियाओं में छात्रों की अर्हग्रस्तता (तल्लीनता)
- कक्षा का स्वस्थ शैक्षिक वातावरण बनाये रखने हेतु निम्न में से आवश्यक है
छात्रों को शारीरिक व्यायाम के लिए दी जाने वाली छट
शिक्षक का मानसिक स्वास्थ्य
विद्यालय की मनोविज्ञानशाला द्वारा किया जाने वाला कार्य
कक्षा की स्वच्छता
- आधुनिक कक्षा में छात्रों से प्रत्याशा की जाती है कि वे
कक्षाओं के चाल रहते हुए शोर न करें।
शिक्षक को द्विपक्षीय शिक्षण के अवसर प्रदान करें।
अपने शिक्षकों से भयग्रस्त रहें।
शिक्षक से मित्रवत् व्यवहार करें
- कक्षा में अनुशासन की बनियादी कसौटी है
एक व्यवस्था क्रम का आभास
कक्षा में होने वाले अधिगम की मात्रा
कक्षा के सदस्यों द्वारा उत्तम व्यवहार का प्रदर्शन
छात्रों में स्वनिर्देशन प्रवृत्तियों का विकास।
- एक समस्यात्मक बालक के साथ व्यवहार करने की प्रभावी विधि है
उसे प्राचार्य के पास भेज दिया जाए।
उसके माता-पिता से रिपोर्ट की जाए
उसकी अभद्रता के कारणों का निर्धारण किया जाए।
उसकी अभद्रता के निराकरण के लिए हर सम्भावित प्रयास किया जाए
- प्राय: शिक्षक कक्षा को अनुशासित रख पाने में इसलिए नाकामयाब रहते हैं, क्योंकि
वे कठोर हृदय वाले होते हैं
वे उन नियमों को स्पष्ट करने में असक्षम हैं, जो छात्रों के लिए बनाए गए है
वे अपने छात्रों के प्रति अविश्सनीय दृष्टिकोण रखते
वे अपने विषय के शिक्षण में असफल हैं। .
- प्राथमिक कक्षाओं में छात्रों का वाचन अभ्यास (रीडिंग प्रैक्टिस) कराई जाती है
एक निर्धारित पाठ्यपुस्तक की सहायता से
प्रत्येक छात्र द्वारा उच्च ध्वनि में पाठ की पुनरावृत्ति कराके
मातृभाषा की पुस्तकों द्वारा
छात्रों को भाषा सम्बन्धी अनभव प्रदान करके –
- सामाजिक विषय के शिक्षण में
विषय-वस्तु स्वयं में अन्तिम लक्ष्य होती है।
शिक्षण विधि शिक्षण परिस्थिति से पूर्ण मुक्त होती है
शिक्षण तकनीक तथा उद्देश्यों में कोई सम्बन्ध नहीं होता है
युक्तियाँ एवं विषय सामग्री दोनों में पारस्परिक सम्बन्ध होता है –
- एक शिक्षण यूनिट के मूल्यांकन का प्राथमिक उद्देश्य होता है
छात्रों को ग्रेड आधार पर वर्गीकृत करना
विभिन्न शिक्षण उद्देश्यों की प्राप्ति की स्थिति से अवगत होना
शिक्षण उद्देश्यों के सन्दर्भ में छात्र प्रगति का पता लगाना
छात्रों को अधिकाधिक परिश्रम के लिए उद्यात रखना
- यदि एक शिक्षक छात्र अभिवृत्तियों को जानने को उत्सुक हैं, तो यह व्यर्थ प्रतीत होता है कि वह
सोशियोड्रामा का उपयोग करे।
छात्र अभिलेखों को प्रयुक्त करें ।
पेपर-पेंसिल परीक्षणों को प्रशंसित करे।
अपने छात्रों का प्रेक्षण करे
- बाल व्यवहार के सन्दर्भ में निम्नलिखित में से कौन सा कथन असत्य है
प्रत्येक व्यवहार का एक कारण होता है
व्यवहार सदैव लक्ष्योन्मखी होता है।
व्यवहार, बालक की आवश्यकताओं की पूर्ति में सहायक है
व्यवहार, उसमें निहित कारणों का सूचक होता है
- वह अन्तिम अवस्था बताइये जो बालक को अभिप्रेरित व्यवहार को दिशा-निर्देश प्रदान करती है
एक उद्देश्य
एक प्रलोभन
एक दृष्टि
एक लक्ष्य –
- बालकों में स्नेह एवं प्रेम सम्बन्धी आवश्यकताओं को प्रायः निम्नलिखित पद के अन्तर्गत समहीकत किया जाता है
स्वीकृति (Acceptance)
संवेगात्मक सुरक्षा
लोकप्रियता
मान्यता (Recognition)
- बालक के व्यवहार को स्पष्ट किया जा सकता है
उन उद्दीपकों के सन्दर्भ में जो उस पर कार्य करते हैं
उसकी असन्तुष्ट इच्छाओं के सन्दर्भ में
उसके सामाजिक दबावों के सन्दर्भ में
प्रेरकों एवं लक्ष्यों के जटिल तन्त्र के सन्दर्भ में |
CTET Paper 2 Shiksha Shastra Model Papers
उत्तर माला
- (C) 2. (D) 3. (B) 4. (C) 5. (C) 6. (D) 7. (A) 8. (C) 9. (C) 10. (C) 11. (A) 12. (D) 13. (D) 14. (A) 15. (A) 16. (C) 17. (D) 18. (A) 19. (B) 20. (D) 21. (B) 22. (C) 23. (C) 24. (A) 25. (A) 26. (A) 27. (B) 28. (D) 29. (A) 30. (C) 31. (B) 32. (D) 33. (D) 34. (C) 35. (C) 36. (D) 37. (A) 38. (A) 39. (A) 40. (D) 41. (B) 42. (B) 43. (A) 44. (B) 45. (A) 46. (B) 47. (C) 48. (A) 49. (C) 50. (C) 51. (C) 52. (B) 53. (B) 54. (C) 55. (C) 56. (B) 57. (C) 58. (C) 59. (D) 60. (C) 61. (B) 62. (C) 63. (D) 64. (D) 65. (D) 66. (B) 67. (C) 68. (A) 69. (D) 70. (A) 71. (D) 72. (D) 73. (C) 74. (D) 75. (A) 76. (A) 77. (B) 78. (D) 79. (D) 80. (D) 81. (D) 82. (D) 83. (C) 84. (D) 85. (A) 86. (C) 87. (D) 88. (B) 89. (B) 90. (D) 91. (C) 92. (C) 93. (D) 94. (D) 95. (B) 96. (C) 97. (D) 98. (D) 99. (B) 100. (D)